Thursday 17 October 2019

Poem : करवाचौथ का पवित्र त्यौहार

करवाचौथ का पवित्र त्यौहार






करवाचौथ का पवित्र त्यौहार
पति-पत्नी के प्रेम का आधार
पति की लंबी आयु के लिए
पत्नी व्रत रखे कठिन अपार

हर सुहागन के मन को
यह त्यौहार बहुत है भाता
प्रेम प्रीत से रचा बसा ये
सबके मन‌ को हर्षाता

निर्जल, निराहार, व्रत करती
दिनभर पति प्रेम में रहती
चांद के दर्शन करने तक
पत्नी भूख प्यास सब सहती

ऋषि मुनि जैसे तप करते थे
प्रभू परमेश्वर को पाने में
वैसा ही वो व्रत रखती है
पत्नी का धर्म निभाने में

सभी पति, आप भी अपना
पति का धर्म निभाना
मान रखना, सदैव व्रत का
आज, जल्दी घर आना

उसका व्रत पूर्ण होने पर
खाली हाथ ना जाना
महंगा उपहार ना ला सको गर
सुहाग का सामना ही ले आना



आप सभी को करवाचौथ की हार्दिक शुभकामनाएँ, ईश्वर  सभी को अखण्ड सौभाग्य प्रदान करें


6 comments:

  1. Replies
    1. Thank you very much for your appreciation 🙏

      Delete
  2. Replies
    1. आपके सराहनीय शब्दों का अनेकानेक धन्यवाद 🙏

      Delete
  3. एक पत्नी का सच्चे प्रेम से भरा संदेश ।'महँगा उपहार न लाना सुहाग का सामान लाना ।'वाह अनीमिका जी।

    ReplyDelete
    Replies
    1. आप के सराहनीय शब्द मुझे सदैव लिखते रहने की प्रेरणा प्रदान करते हैैं।

      आप का ह्रदय से अनेकानेक आभार 🙏❤️

      Delete

Thanks for reading!

Take a minute to share your point of view.
Your reflections and opinions matter. I would love to hear about your outlook :)

Be sure to check back again, as I make every possible effort to try and reply to your comments here.